Coronavirus Vaccination Deaths in Hindi: जब से देश भर में कोरोनावायरस वैक्सीनेशन कैंपन (Coronavirus vaccination campaign) की शुरुआत हुई है, कई राज्यों से टीका लेने वालों में कुछ ना कुछ साइड इफेक्ट्स नजर आने की बातें सामने आई है। कुछ दिनों पहले कर्नाटक और उत्तर प्रदेश में दो लोगों की जान चली गई थी। बताया जा रहा था कि टीका लेने से उनकी मौत हुई है, लेकिन जांच रिपोर्ट आने पर पता चला कि उन दोनों की मौत कार्डियोपल्मोनरी बीमारी (cardiopulmonary disease) के कारण हुई थी। अब एक ताजा घटना आंध्र प्रदेश (Andhra Pradesh) से सामने आई है। खबर है कि राज्य के गुंटूर जिले में टीकाकरण अभियान (Coronavirus vaccination) के तहत एक हेल्थ वर्कर की मौत हो गई है।
आंध्र प्रदेश में 19 जनवरी को हेल्थ वर्कर्स को वैक्सीन लगाया गया था। एक आशा कार्यकर्ता को कोरोना वैक्सीन (Corona vaccine) लगाने के बाद कुछ साइड इफेक्ट्स नजर आए थे। गुंटूर के ही एक सरकारी हॉस्पिटल में उसका इलाज चल रहा था, लेकिन इलाज के दौरान ही रविवार तड़के उसकी मौत हो गई। मान्यता प्राप्त सामाजिक स्वास्थ्य कार्यकर्ता (आशा) का नाम विजया लक्ष्मी (44) था। फिलहाल, उनके परिवार वालों ने आरोप लगाया है कि वैक्सीनेशन के बाद साइड इफेक्ट (Vaccination side effects) के कारण विजया की मौत हुई है। हालांकि, अधिकारियों ने कहा कि मौत के कारण की जांच चल रही है, इसलिए मौत (Coronavirus vaccination deaths in hindi) की वजह टीका लगने से हुई है, ये कहना जल्दबाजी होगी।
स्वास्थ्य अधिकारियों ने कहा कि स्वास्थ्य कार्यकर्ता की मौत का कारण उसकी शव परीक्षण रिपोर्ट प्राप्त होने के बाद ही पता चलेगा।अधिकारियों ने कहा कि मृत्यु टीकाकरण से नहीं हुई है। उन्होंने बताया कि गुंटूर जिले में अब तक 10,000 से अधिक लोगों को टीका दिया गया है और एक भी साइड इफेक्ट (Corona vaccine side effects) की घटना की सूचना नहीं मिली है।
आशा कार्यकर्ता की मौत के बाद उसके परिवार के सदस्यों और आशा कार्यकर्ताओं ने गुंटूर के सरकारी जनरल हॉस्पिटल में विरोध प्रदर्शन किया। उन्होंने 50 लाख रुपये मुआवजे की मांग की। गुंटूर के जिला कलेक्टर सैमुअल आनंद ने घोषणा की कि मृतक के बेटे को एक सरकारी नौकरी दी जाएगी।
कुछ दिनों पहले नीति आयोग के सदस्य वी. के. पॉल ने लोगों से अपील की थी कि इसी तरह वैक्सीन लेने में संकोच और हिचकिचाहट महसूस करेंगे तो कोरोना महामारी (Corona pandemic) से नहीं लड़ पाएंगे। वैक्सीन के प्रति हिचकिचाहट और डर लोगों में समाप्त नहीं होगी, तो ये महामारी हमें समाप्त कर देगी।
स्रोत: (IANS Hindi)
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