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Father's Day 2020: बच्चे के जन्म के बाद मां की ज़िंदगी (Postpartum Life) में कई बदलाव आते हैं। लेकिन, इसके साथ ही पिता बनने वाले पुरुष का जीवन भी पूरी तरह से बदल जाता है। भले ही पिता बनने के बाद व्यक्ति में फिजिकल स्ट्रेस बढ़ता हुआ ना दिखायी पड़े। लेकिन, मानसिक स्तर (Mental Stress in New Fathers) पर नये पिता बहुत ही ज़्यादा दबाव महसूस करते हैं। अक्सर, आपने देखा होगा कि पिता बनने के बाद लड़के बहुत ज़्यादा शांत हो जाते हैं। यह उनके मेंटल स्ट्रेस का ही एक संकेत होता है। (Father's Day 2020 in hindi)
अमेरिका के सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल ऐंड प्रिवेंशन द्वारा की गयी एक स्टडी में यह कहा गया कि 5 से 10 प्रतिशत न्यू फादर्स ऐसे हैं जो बच्चे के जन्म के बाद डिप्रेशन में चले जाते हैं। यही नहीं, जिन पुरुषों को पोस्ट-पार्टम डिप्रेशन का खतरा भी 24 - 50 फीसदी बढ़ सकता है। (Postpartum Depression in Men chances) न्यू फादर्स को महसूस होने वाले इस तनाव को हल्के में लेना ठीक नहीं। क्योंकि, इसके गम्भीर परिणाम हो सकते हैं। इसीलिए इस स्ट्रेस को कंट्रोल करने के लिए सही समय पर उपाय उठाने चाहिए। (Father's Day 2020 in hindi)
प्रेगनेंसी (Pregnancy) की शुरुआत से ही जिस तरह आपकी पत्नी बच्चे के आगमन को लेकर तैयारियां करती हैं, वैसे ही आप भी उत्साह के साथ अपने आप को मेंटली तैयार रहें। पेट में बच्चे की गतिविधियों को समझें, महसूस करें और अपनी पत्नी के साथ अस्पताल जाएं, रिपोर्ट्स देखें और अपनी पत्नी की भी मदद करें। इससे, बच्चे के साथ आपकी बॉडिंग स्टॉन्ग हो जाएगी।
जैसा कि बच्चे के जन्म के बाद अचानक से कई प्रकार से खर्च बढ़ जाते हैं। इसीलिए, बहुत-से पुरुष पैसों की तंगी की वजह से तनाव महसूस करते हैं। इस प्रकार की स्थिति से बचने के लिए पहले से ही प्लानिंग कर लें। किसी और अभिभावक कपल से बात करें और ज़रूरत पड़े तो किसी फाइनेंशियल एक्सपर्ट की भी मदद लें।
आपके मन में जो भी चल रहा है उसके बारे में अपनी पार्टनर से बात करें। बच्चे के जन्म से पहले और बाद में भी अपने पार्टनर को अपनी इनसिक्योरीटीज़, डर और चिंता की वजहों के बारे में बताएं। इससे, आप दोनों मिलकर हर समस्या का हल निकाल पाएंगे।
डिलीवरी के बाद बच्चे की देखभाल करने में अपनी पत्नी की सहायता करें। बेबी केयर के लिए दिन और रात में अपना-अपना समय निश्चित करें। इससे, आप दोनों को आराम भी मिलेगा और बच्चे की भी देखभाल अच्छे से हो जाएगी। ऑफिस जाने से पहले और घर लौटने के बाद, बच्चे को समय दें। मां और पिता दोनों के साथ बच्चा अगर पर्याप्त समय बिताता है तो, उसकी एक्टिविटीज़ और खाने-पीने की आदतें डेवलप होंगी। साथ ही मां को थो़ड़ा ब्रेक भी मिलेगा। बेबी केयर पिता और बच्चे के बीच के रिश्ते को बेहतर बनाने का काम करता है। इसी तरह बच्चे का प्यारा चेहरा और हंसी सुनकर आपका तनाव भी कम होगा।
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