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मेनोपॉज कोई बीमारी नहीं है। मेनोपॉज (menopause) टर्म तब बोला जाता है, जब महिलाओं में मासिक धर्म (पीरियड्स) बंद हो जाता है। इससे महिलाओं में रीप्रोडक्टिव पीरियड की भी अंत होती है यानी एक बार मेनोपॉज होने पर आप फिर गर्भधारण नहीं कर सकती हैं। अक्सर कुछ महिलाओं को मेनोपॉज होने के बाद कई तरह की शारीरिक समस्याएं होने लगती हैं। शोध के अनुसार, मेनोपॉज से महिलाओं में हार्ट डिजीज का खतरा बढ़ सकता है। जिस तरह से पीरियड्स होना एक नेचुरल प्रॉसेस है, ठीक उसी तरह 45 वर्ष में मेनोपॉज की अवस्था आना भी एक प्राकृतिक बात है। आप योग (Yoga for Post Menopause) जरिए मेनोपॉज के बाद होने वाली शारीरिक समस्याओं को कम कर सकती हैं।
हॉट फ्लैशेज, यूरिनरी इनकॉनटिनेंस, वेजाइनल चेंजेज, ब्रेस्ट चेंजेज, बोन लॉस, कोलेस्ट्रॉल लेवल बढ़ना, हार्ट डिजीज (symptoms of Menopause) खासकर उनमें, जिन्हें अर्ली उम्र (40 वर्ष से पहले) में ही प्रीमैच्योर मेनोपॉज हुआ हो। सर्जरी के जरिए ओवरी हटाया गया हो उनमें भी हार्ट डिजीज का खतरा अधिक रहता है। इसके अलावा वजन भी बढ़ने लगता है।
कई महिलाओं में मेनोपॉज होने के बाद तेजी से वजन बढ़ने लगता है। कुछ के बाल बहुत ही ज्यादा टूटने लगते हैं। त्वचा से संबंधित समस्याएं होने लगती हैं। हमेशा थकान, आलस, रात में सोते समय पसीना आना जैसी समस्याएं हो सकती हैं। इन सभी समस्याओं को कम किया जा सकता है बशर्ते कि आप नियमित रूप से कुछ योग का अभ्यास करें।
Menopause Diet : मेनोपॉज में डाइट का रखें खास ध्यान
सुखासन (Yoga for Post Menopause) तन और मन दोनों को स्वस्थ और शांत करने में मदद करता है। यह शरीर को बाकी की दिनचर्या या योग आसन के लिए तैयार करने में मदद करता है। योग करने के दौरान सबसे पहले सुखासन से शुरूआत की जा सकती है, यह सही श्वास लेने की प्रक्रिया और नियंत्रण प्राप्त करने में मदद करता है।
चूंकि मेनोपॉज के दौरान बालों की समस्या काफी बढ़ जाती है, इसलिए उत्तानासन जरूर करें। इससे सिर में ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है। पेट से संबंधित समस्याएं भी दूर होती हैं। बाल कई बार इसलिए भी झड़ते हैं, क्योंकि पेट की सेहत ठीक नहीं रहती है। पेट की सेहत सही रहेगी तो बाल भी हेल्दी रहेगा। उत्तानासन करने से शरीर भी शांत होता है। हृदय गति स्थिर होती है, रक्तचाप सामान्य होता है। उत्तानासन करने के लिए सीधे खड़े हो जाएं। अपने दोनों पैरों को पास रखें। दोनों हाथों को ऊपर सीधा करें। अब धीरे-धीरे सामने की ओर कमर से नीचे झुकते जाएं। अपने दोनों हाथों से पैर के पंजों को छूने की कोशिश करें। इस आसन में आप 60 से 90 सेकंड के लिए रहें।
मेनोपॉज के बाद होने वाली ये हैं वो 8 आम समस्याएं
सीधे खड़े हो जाएं। अब अपने दोनों पैरों के बीच थोड़ी सी दूरी बना लें। हाथों को शरीर से छूते हुए बिल्कुल खुला लटकाएं। सांस लेते हुए दोनों भुजाओं को ऊपर उठाएं। हाथों की उंगलियों को एक-दूसरे से इंटरलॉक कर लें। अब अपनी एड़ियां उठाएं और पैर की उंगलियों के सहारे खड़े हो जाएं। अब पैरों से लेकर उंगलियों और शरीर में खिंचाव को महसूस करें। सांस लेते हुए इस स्थिति में कुछ देर तक बनी रहें। अब सांस छोड़ें और विश्राम की मुद्रा में आ जाएं। ताड़ासन करने से मेनोपॉज संबंधित समस्याओं से राहत मिलेगा।