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दिल का दौरा सुनने में काफी डरावने शब्द लगते हैं। जब किसी को दिल का दौरा पड़े तो बहुत कम समय ही मिलता है। आपके लिए यह जानना भी बेहद ज़रूरी है कि दिल का दौरा कभी भी कहीं भी पड़ सकता है, यहां तक कि आराम कर रहे होने के दौरान, शारीरिक गतिविधियों के बढ़ने के बाद, या ठंडे मौसम में बाहर होने के दौरान, या मानसिक, भावनात्मक या शारीरिक तनाव के कारण भी। दिल का दौरा पड़ना एक मेडिकल इमरजेंसी है और इसका उपचार भी त्वरित रूप से होना चाहिए। इसके लक्षण इस तरह हैं-
दर्द आपके सीने में बना रह सकता है या सीने से होकर शरीर के दूसरे हिस्सों जैसे आपकी बांह, कंधे, गर्दन, दांत, पेट या पीठ तक भी पहुंच सकता है। यह दर्द बहुत गंभीर या मामूली हो सकता है। इसके साथ आपको और भी कई परेशानियां महसूस हो सकती हैं जैसे-छाती में जकड़न,बदहजमी, छाती पर भारीपन और घुटन ।
डायबिटी़ज़ से पीड़ित लोगों और कई बार महिला मरीज़ों को कुछ लक्षण नहीं दिखते। महिलाओं में आम तौर पर सीने में गंभीर दर्द नहीं होता, पर उन्हें कमजोरी और बेचैनी महसूस होती है। इसका इलाज ना किया जाए तो परेशानी बढ़ सकती है। इसी तरह, डायबिटीज़ के मरीज़ों को बहुत ज़्यादा पसीना आता है और कई बार वे बेहोश हो जाते हैं, लेकिन अक्सर लोग इसे शरीर में शुगर के स्तर से जुड़ी परेशानी मान बैठते हैं। कभी-कभार ईसीजी के दौरान भी दिल का दौरा पड़ने का पता चलता है, भले ही पहले कभी दिल का दौरा न पड़ा हो। ऐसे सामान्य लक्षण ज़्यादा चुनौतीपूर्ण साबित होते हैं क्योंकि तुरंत पहचान न होने की स्थिति में इसका असर घातक हो सकता है।
महिलाओं को इस तरफ ज़्यादा ध्यान देने की ज़रुरत होती है क्योंकि उनमें आम तौर पर हार्ट अटैक के विशेष लक्षण नहीं दिखायी पड़ते। महिलाओं में हार्ट अटैक के दौरान ये लक्षण दिखायी पड़ सकते हैं: