आजकल के बिजी लाइफस्टाइल (Busy lifestyle) के कारण बहुत ही कम लोगों के पास अपनी सेहत का ध्यान रखने का समय मिलता है। हर किसी के पास काम इतना हो गया है, कि वे सारा दिन कंप्यूटर के आगे बैठ कर निकाल देते हैं और ऐसे में एक्सरसाइज व अन्य हेल्दी हैबिट अपनाना तो दूर की बात हो जाती है। दरअसल एक्सरसाइज और स्ट्रेचिंग आदि की कमी के कमी के कारण बदन दर्द, जोड़ों में दर्द व अन्य कई समस्याएं होने लगती हैं। लेकिन समय ना होने के कारण व्यक्ति बस पेनकिलर लेकर अपना काम चला लेते हैं। लेकिन कई बार स्थिति गंभीर हो जाती हैं और शरीर को स्थायी नुकसान पहुंचा सकती है। कार्पल टनल सिंड्रोम एक ऐसी ही समस्या है, जिसके कारण व्यक्ति का हाथ सुन्न हो जाता है और दर्द होने लगता है। अगर आपके हाथ में भी कई बार दर्द हो जाता है और आपको हाथ का कोई हिस्सा सुन्न महसूस होता है, तो यह लेख आपके ही लिए है और आपको इस बारे में जरूर जानना चाहिए।
शारीरिक संरचना (एनाटॉमी) से जुड़ी एक समस्या है, जिसमें कलाई में मौजूद कोई नस दब जाती है और परिणामस्वरूप हाथ झनझनाहट व दर्द महसूस होने लगता है। हालांकि, समय पर इसकी देखभाल करके और उचित इलाज व घरेलू उपायों की मदद से इस समस्या को ठीक किया जा सकता है।
कलाईयों का ज्यादा इस्तेमाल करने वाले लोगों को भी यह समस्या हो सकती है। उदाहरण के लिए अगर आप घंटो तक कंप्यूटर कीबोर्ड पर काम करते हैं या फिर कोई ऐसा गेम खेलते हैं, जिसमें कलाइयों का इस्तेमाल होता है तो आपको यह सिंड्रोम होने का खतरा बढ़ जाता है।
कार्पल टनल सिंड्रोम में कलाई की नस दब जाती है, जिसके कारण उन नस से जुड़े हाथ के हिस्से में झनझनाहट होने लगती है और वह हिस्सा पूरी तरह से सुन्न भी पड़ जाता है। ऐसा आमतौर पर कलाई के जोड़ को ओवर यूज करने के कारण होता है, जिससे किसी प्रक्रिया के दौरान नस दब जाती है।
वैसे को कार्पल टनल सिंड्रोम किसी भी व्यक्ति को हो सकता है। हालांकि, जो लोग अर्थराइटिस, डायबिटीज या थायराइड से संबंधित बीमारियों से ग्रसित होते हैं, उन्हें यह सिंड्रोम होने का खतरा अधिक रहता है। वहीं अगर किसी व्यक्ति को पहले कलाई में चोट आदि लग चुकी है, उन्हें भी यह सिंड्रोम होने का खतरा अधिक रहता है।
अगर आपको लगता है कि आपके हाथ का कोई हिस्सा कुछ समय के लिए सुन्न पड़ जाता है या फिर आपको हाथ के किसी हिस्से में दर्द महसूस होता है, तो आपको बिना देरी किए डॉक्टर से संपर्क कर लेना चाहिए। अगर समय रहते कार्पल टनल सिंड्रोम की देखभाल की जाए तो स्थिति को गंभीर होने से पहले ही उसका इलाज किया जा सकता है।
नियमित रूप से एक्सरसाइज और बैलेंस्ड डाइट लेने वाले लोगों में ऐसी समस्याएं अपेक्षाकृत कम देखी जाती हैं। वहीं जो लोग गतिहीन जीवन (Sedentary lifestyle) जीते हैं, उन्हें कार्पल टनल सिंड्रोम जैसी समस्याएं होने का खतरा अधिक रहता है। इसलिए इस रोग से बचाव करने के लिए अच्छी जीवनशैली की आदतें अपनाना बेहद जरूरी होता है।
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