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Anger Benefits : गुस्सा दबाना ठीक नहीं, होते हैं कई फायदे

Anger Benefits : गुस्सा दबाना ठीक नहीं, होते हैं कई फायदे
Unexpressed and unresolved frustration can have emotional and physical effects. © Shutterstock.

जो लोग अपने गुस्से को दबाते हैं, उनमें डिप्रेशन की समस्या बढ़ सकती है। ऐसे में जब भी आपको गुस्सा आए, तो चिल्लाकर गुस्सा जरूर बाहर निकालें।

Written by Anshumala |Published : September 15, 2019 5:15 PM IST

आज लोग हर छोटी-छोटी बात पर गुस्सा कर बैठते हैं। अधिक गुस्सा करना (Anger) तन-मन दोनों के लिए ही नुकसानदायक होता है। लेकिन, कुछ शोध की मानें तो गुस्सा करना सेहत के लिए कई मायनों में बेहतर भी होता है। क्या वाकई गुस्सा करना (Anger) सेहत के लिए सही होता है? दरअसल, जब आप गुस्सा करते हैं, तो खूब चिल्लाते हैं। कई बार चिल्लाने से आप अपने अंदर की सभी नकारात्मक पहलुओं को बाहर निकाल देते हैं, जो किसी ना किसी रूप में आपकी ही सेहत के लिए (Anger benefits) सही है। हां, गुस्सा नेगेटिव हो तो इससे बचना चाहिए, लेकिन अगर यह क्रिएटिव है, तो गुस्सा कभी-कभार जरूर करते रहना चाहिए। जानें, क्या करना चाहिए जब अधिक गुस्सा आए और किसी तरह से फायदेमंद (Anger benefits) होता है गुस्सा करना...

क्या होता है शरीर में, जब आता है गुस्सा

जब व्यक्ति को गुस्सा आने वाला होता है, तो उसके हाथों-पैरों में खून का बहाव तेज हो जाता है। दिल की धड़कनें बढ़ जाती हैं। एड्रिनलिन हॉर्मोन तेजी से रिलीज होता है। शरीर को इस बात के लिए तैयार कर देता है कि वह कोई ताकत से भरा एक्शन ले। यदि आप हमेशा गुस्सैल और चिड़चिड़े रहते हैं, दूसरों की भावनाओं की परवाह किए बिना उनपर हाथ उठा देते हैं, फिजिकल अटैक करते हैं, तो जल्द से जल्द इस स्थिति पर काबू पा लें।

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चिल्लाएं

गुस्सा जब आए, तो उसे दबाएं नहीं, बल्कि चिल्लाकर निकालने की कोशिश करें। गुस्से में चिल्लाने से शरीर की नकारात्मक ऊर्जा बाहर निकल जाती है।

गुस्सा दबाना ठीक नहीं

अध्ययन के अनुसार, गुस्सा दबाने से हार्ट अटैक, कुछ तरह के कैंसर, उच्च रक्तचाप जैसी संभावनाएं बढ़ सकती हैं। जब आप गुस्से में हों, तो चिल्लाने से हार्ट अटैक का खतरा कम हो जाता है। गुस्से में खून पर दबाव बनता है और सांस भी फूलने लगती है। ऐसे में गुस्सा निकालना जरूरी होता है। चिल्लाने से रक्त संचार बेहतर होता है।

तनाव होता है कम

जो लोग अपने गुस्से को दबाते हैं, उनमें डिप्रेशन की समस्या बढ़ सकती है। ऐसे में जब भी आपको गुस्सा आए, तो चिल्लाकर गुस्सा जरूर बाहर निकालें। जो लोग चिल्लाकर अपना गुस्सा निकाल देते हैं, उनमें गुस्सा दबाने वालों की तुलना में कम तनाव होता है। ज्यादा गुस्सैल लोग हमेशा दूसरों पर चीखते-चिल्लाते नहीं रहते, बल्कि ज्यादातर वक्त चुपचाप और हताश रहते हैं। ये हताशा उन्हें डिप्रेशन की ओर ले जाती है।

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गुस्से को ऐसे टालें

बार-बार और अधिक गुस्सा (tips to avoid anger) करना भी सेहत के लिए ठीक नहीं है। इससे आपका ब्लड प्रेशर हाई हो सकता है। गुस्सा कई वजहों से आता है, जैसे कोई काम समय पर पूरा ना होना, काम अटक जाना, कोई कीमती या प्यारी चीज खो जाना, किसी से बहस हो जाना आदि। ऐसे में आप तनाव में आ जाते हैं और गुस्सा करने लगते हैं। तनाव के कारण मानसिक स्थिति विकृत हो जाती है। सहनशक्ति कमजोर हो जाती है। ध्यान रखें कि गुस्सा करके कुछ भी हासिल नहीं होगा, उल्टे आपका ही नुकसान होगा। गुस्से को कुछ समय तक टालने की कोशिश करें। जिस वक्त गुस्सा आ रहा हो, उस वक्त आंखें बंद करें। अपना ध्यान सांसों पर केंद्रित करने की कोशिश करें। लंबी सांसें लें। लाइफस्टाइल में बदलाव लाकर भी गुस्से को काबू किया जा सकता है।